सरगुजा सम्भागायुक्त की श्री जी आर चुरेन्द्र की अध्यक्षता में गुरुवार को स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग की विभागीय बैठक आयोजित की गई। शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय के प्रतिनिधियों द्वारा अवगत कराया गया कि महाविद्यालय से संबंधित विभागों जैसे लोक निर्माण, सीजीएमएससी, राजस्व तथा समस्त संबंधित विषयों पर समाधान के प्रयास किये जा रहे हैं। एचटी लाईन उपलब्धता के उपरांत टीसी लाईन हटाये जाने हेतु पत्राचार एवं समन्वय किया जा रहा है, ताकि अतिरिक्त विद्युत शुल्क भुगतान की स्थिति से बचा जा सके। महाविद्यालय एवं संबंद्ध चिकित्सालय के अपूर्ण निर्माणाधीन कार्यों हेतु लोक निर्माण विभाग से सतत समन्वय किया जा रहा है। सुपरस्पेशिलिटी हॉस्पिटल की स्थापना हेतु अतिरिक्त भूमि आबंटन के लिए जिला प्रशासन को पत्र प्रेषित किया गया है। चिकित्सालय के सामने गुमटी, ठेले, अवैध वाहन पार्किंग रोके जाने हेतु जिला प्रशासन से समन्वय स्थापित कर कार्य संपादित किया जा रहा है।
सरगुजा संभाग के समस्त मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों के द्वारा सम्भागायुक्त श्री चुरेन्द्र के समक्ष जिले में सीजीएमएससी के द्वारा कराये जा रहे निर्माण कार्यों के धीमी गति से होने की जानकारी दी गयी। श्री चुरेन्द्र द्वारा बैठक में उपस्थित सीजीएमएससी के अभियंताओं को जिलों में कराये जाने वाले निर्माण कार्यों को तेज गति से करने एवं अविलम्ब निर्माण कार्य को पूर्ण कर विभाग को हस्तांतरित करने हेतु निर्देशित किया गया, साथ ही समस्त मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों को सीजीएमएससी के द्वारा उनके जिले में किये जा रहे निर्माण कार्यों का स्थल पर जाकर प्रत्येक सप्ताह जाकर निरीक्षण करने हेतु निर्देश दिये गये। समस्त उपअभियंताओं को जिला मुख्यालय में ही निवास करते हुये निर्माण कार्यों को कराना एवं उसकी प्रगति की मासिक जानकारी विभाग के प्रमुख अधिकारी को प्रदान करने हेतु निर्देश दिये गये। भूमि आबंटन से संबंधित समस्याओं हेतु विभाग के द्वारा शासन से पत्राचार करने हेतु निर्देशित किया गया।
अधिष्ठाता द्वारा अवगत कराया गया कि एसईसीएल के सीएसआर मद से सीटी मशीन विगत चार वर्षों से सफलतापूर्वक मरीजों के उपयोग हेतु संचालित है। एमआरआई मशीन स्थापित किये जाने हेतु एसईसीएल से राशि सीजी एमएससी को हस्तांतरित किए जा चुके हैं एवं शासकीय मद से राशि उपलब्ध कराए जाने हेतु प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति प्राप्त हो गई है। चिकित्सालय भवन के मरम्मत एवं रिनोवेशन के कार्य हेतु सीएसआर मद से अनुमानित राशि की आवश्यकता होना बताया गया। चिकित्सालय में सुविधाओं के विस्तार हेतु सीएसआर मद से अनुमानित राशि की आवश्यक्ता होना बताया गया। संभाग अन्तर्गत जिलों में ब्लड बैंक का संचालन किया जा रहा है उक्त ब्लड बैंक का संचालन शासन द्वारा जारी गाईडलाईन अनुसार किये जाने हेतु निर्देशित किया गया तथा जिन जिलों में ब्लड बैंक का संचालन वर्तमान में नहीं किया जा रहा है उन्हे शासन को ब्लड बैंक हेतु लाईसेंस प्रदान किये जाने हेतु पत्राचार करने निर्देशित किया गया। चिकित्सा महाविद्यालय संबंद्ध चिकित्सालय में स्थापित ब्लड बैंक की क्षमता 500 युनिट रक्त संग्रहण का होना बताया गया। ब्लड कम्पोनेन्ट थेरेपी की स्थापना कर शीघ्र प्रारंभ होने की संभावना है, इस हेतु लाईसेंस प्रदाय संबंधी पत्र प्रेषित किया जाना बताया गया। चिकित्सा महाविद्यालय में ग्रीन कॉरीडोर की व्यवस्था हेतु जिला प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन से समन्वय कर आवश्यक कार्यवाही की जायेगी।सम्भागायुक्त द्वारा समस्त जिलों के मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को उनके जिले में यदि विशेषज्ञ चिकित्सकों की आवश्यकता होने पर अधिष्ठाता, शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय से समन्वय करने हेतु निर्देश दिए गए।